उरीमारी (हजारीबाग): राष्ट्रीय कोलियरी मजदूर यूनियन के क्षेत्रीय कार्यालय में मंगलवार को क्षेत्रीय सचिव राजू यादव के नेतृत्व में दिशोम गुरु शिबू सोरेन के निधन पर शोक सभा का आयोजन किया गया। जिसमें दिशोम गुरु शिबू सोरेन के निधन पर दो मिनट तक मौन रखकर उनकी आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की गई।

शोक संवेदना व्यक्त करते हुए क्षेत्रीय सचिव राजू यादव ने कहा कि शिबू सोरेन का एक साधारण किसान परिवार में जन्म हुआ था। बहुत कम उम्र में अपने पिता को जमींदारी प्रथा की बर्बरता का शिकार होते देखा, जिससे उनके भीतर अन्याय के खिलाफ आग जल उठी। महाजनों ने उनके पिता की हत्या कर दिया था।इससे आहत शिबू सोरेन अपनी पढ़ाई छोड़कर आदिवासियों को एकजुट करना शुरू किया और महाजनों के खिलाफ धनकटनी आंदोलन शुरू किया। देखते ही देखते उन्होंने अलग झारखंड राज्य के लिए आंदोलन शुरू कर दिया। दिशोम गुरु शिबू सोरेन ने समाज सुधारक, सामाजिक कार्यकर्ता से राजनेता तक का सफर तय किया। वे झारखंड के सबसे बड़े और सर्वमान्य नेता बने रहे। उनका जीवन आदिवासी चेतना और संघर्ष की प्रेरणा है। 

शोक व्यक्त करने वाले में उरीमारी शाखा अध्यक्ष सीताराम किस्कू, विस्थापित संघर्ष मोर्चा के सचिव महादेव बेसरा, उरीमारी पंचायत के पूर्व पंचायत समिति सदस्य कानू मरांडी, विश्वनाथ मांझी, बिरसा शाखा अध्यक्ष लालो महतो, सचिव कंचन मांझी, क्षेत्रीय  सुरक्षा समिति सदस्य गणेश राम, डॉ. जीआर भगत, जतरू मांझी, दीपक विश्वकर्मा, टहल गोप, अली हसन खान, बाल्मीकि यादव, विश्राम मांझी, चंदू जायसवाल, शिबू हेम्ब्रोम, सुखदेव सोरेन, सिगू मांझी, अशोक यादव, रवि पवारिया, भोला यादव, कल्याण मिश्रा, रामचंद्र मांझी, पूरन मांझी, लालदेव सोरेन, मुथु मांझी, मो. गुलाब, निरंजन किस्कू, गोविन्द प्रसाद, मजहर आलम, असगर अली, संजय सिंह, श्रीराम मांझी, तुलसी ठाकुर, नंद किशोर यादव, मन्ना मांझी, बिनोद प्रजापति, रतन मांझी, शिवा उरांव, राधे श्याम रजक, इंद्रदेव पांडेय, दीपक यादव, सतीश कुमार, महेंद्र सिंह, राम प्रवेश दास सहित कई लोग मौजूद थे।

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