हजारीबाग: जिला प्रशासन, आदिवासी समाज, आदिवासी केंद्रीय सरना समिति एवं सामाजिक राजनीतिक संगठनों द्वारा भगवान बिरसा मुंडा जयंती एवं झारखंड स्थापना दिवस बुधवार को धूमधाम से मनाया गया। सर्वप्रथम हजारीबाग उपायुक्त नैंसी सहाय, पुलिस अधीक्षक मनोज रत्न चौथे, उपविकास आयुक्त प्रेरणा दीक्षित, एसडीएम विद्याभूषण कुमार, आदिवासी समाज के अध्यक्ष रमेश कुमार हेम्ब्रोम ने हजारीबाग में भगवान बिरसा मुंडा के आदमकद प्रतिमा पर माल्यार्पण किया गया।

मौके पर उपायुक्त नैंसी सहाय ने कहा कि 15 नवंबर भगवान बिरसा मुंडा का जन्मदिन, झारखंड के लिए ऐतिहासिक दिन हैं। कम उम्र में ही बिरसा मुंडा की अंग्रेजों के खिलाफ जंग छिड़ गई थी, जिसे उन्होंने मरते दम तक कायम रखा था। बिरसा मुंडा और उनके समर्थकों ने अंग्रेजों के छक्के छुड़ा दिये थे। उन्होंने कहा कि जल, जंगल, जमीन और अस्तित्व की रक्षा के लिए उन्होंने लंबा संघर्ष किया। आजादी के लिए प्राण न्यौछावर करने वाले बिरसा ने उलगुलान क्रांति का आह्वान किया। भगवान बिरसा मुंडा की गौरव गाथा युगों-युगों तक प्रेरणा देती रहेगी।

आदिवासी समाज के अध्यक्ष रमेश कुमार हेम्ब्रोम ने कहा कि झारखण्ड राज्य अलग हुए 23 वर्ष हो गए लेकिन आज भी इन महापुरुषों का सपना अधूरा हीं है। भगवान बिरसा मुंडा ने कहा था कि अबू दिशोम रे अबू राज्य लेकिन इनका नारा आज तक अधूरा हीं है। उन्होंने कहा कि इनका सपना तभी पूरा होगा जब शहर कस्बों के तर्ज पर गांव के आदिवासी मुलवासियों का विकास को लेकर मुलभूत सुविधा मुहैया हो जाएं। तभी इन महापुरुषों का सपना पूरा हो सकता है।

मौके पर मुख्य रूप से महेंद्र बेक, सुनील लकड़ा, मनोज टुडू, सुधीर बास्के, सुशील ओड़िया, महेंद्र कुजूर, मोनालिसा लकड़ा, रतन केरकेट्टा, रवि लिंडा, बंधन एक्का, महेंद्र टोप्पो, दिलीप तिग्गा सहित कई लोग मौजूद थे।

By Admin

error: Content is protected !!