हमारी संस्कृति से जुड़ा सोहराय पर्व प्रेम का प्रतीक : किस्टो बेसरा
हजारीबाग: ऑल संथाल स्टूडेंट्स यूनियन, आदिवासी केंद्रीय सरना समिति, आदिवासी छात्र संघ, आदिवासी संथाल समाज के बैनर तले संयुक्त रूप से सरना स्थल हजारीबाग में चंपा दिशोम सोहराय महापर्व 2023 का आयोजन रविवार को किया गया। जिसका नेतृत्व ऑल संथाल स्टूडेंट यूनियन के केंद्रीय अध्यक्ष मनोज टुडू ने किया। सर्वप्रथम नाइके विकास टुडू ने मांझी थान में विधिवत पूजा अर्चना की।
तत्पश्चात कार्यक्रम के मुख्य अतिथि किस्टो बेसरा, विशिष्ट अतिथि नगर महापौर रौशनी तिर्की, डीएसपी पदमा ताला सोरेन द्वारा मांझी थान में प्रार्थना कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। कार्यक्रम में प्रत्येक ग्राम के मांझी हड़ाम, नायके, जोगवा, प्राणिक, कुडम नायके, ग्राम प्रधान को सम्मानित किया गया। जिनमें गोबेरदाहा मांझी हड़ाम संतोष बास्के, बिनकारवा मांझी, महादेव टुडू, डुमरिया से नायिका किस्कू, बागजोबरा से सहदेव किस्कू, अकाकुंबा से मोती हेंब्रम, कोडरमा से नंदकिशोर मुर्मू, गिरीडीह से मुंशी मुर्मू और मरकच्चो सुरेश मुर्मू कार्यक्रम में शामिल रहे। वहीं हजारीबाग जिले से जो ग्रामीण व छात्र-छात्राएं जो पहली बार इस कार्यक्रम में शामिल हुए उनका आयोजक द्वारा स्वागत किया गया।
कार्यक्रम में युवा-युवती परंपरागत पोशाक पहने ढोल नगाड़े व मांदर के थाप पर हर्षोल्लास के साथ नाचते गाते दिखे। सांस्कृतिक कार्यक्रम की प्रस्तुती गोबेरदाहा, बिनकरवा, डुमरिया, बागजोबरा, अकाकुंबा, आदिवासी बालिका छात्रावास, आदिवासी बालक छात्रावास, कजरी भोसरी का सीआईडी लोटे, विष्णुगढ़, टाटीझरिया, बरकट्ठा, हेसागड़ा, करमाबेड़ा, रंगुबेड़ा के ग्रामीणों द्वारा किया गया।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि किस्टो बेसरा ने कहा कि चंपा दिशोम सोहराय महापर्व प्रेम का प्रतीक है, सोहराय पर्व मे ग्रामीण अपने बैलों की पूजा की जाती है क्योंकि इसके द्वारा ही हमलोग खेतीबारी करते हैं और अपने आपको आर्थिक समृद्धि पाते हैं।
वहीं बंधन एका ने कहा कि सोहराय पर्व समस्त आदिवासी धूमधाम से मनाते हैं और सबके चेहरों में उल्लास रहता है। महापौर रोशनी तिर्की ने कहा कि हमारा प्रयास है कि यह सरना स्थल सरहुल मैदान की जल्द से जल्द साफ सफाई और सुंदरीकरण किया जाएगा।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए डीएसपी पदमा ताला सोरेन ने कहा कि ग्रामीणों के साथ-साथ युवा पीढ़ी भी अपने भाषा, संस्कृति, पर्व, त्यौहार को जिंदा रखने के लिए इस प्रकार का कार्यक्रम का आयोजन करना बहुत जरूरी है और हजारीबाग शहर में चंपा सोहराय महापर्व का होना एक सौभाग्य से कम नहीं है। मैं सभी छात्र-छात्राओं को तहे दिल से धन्यवाद देता हूं इस प्रकार के शानदार कार्यक्रम करने के लिए।
आदिवासी छात्र संघ के केन्द्रीय उपाध्यक्ष सुशील ओड़िया ने कहा कि युवा के साथ-साथ ग्रामीणों का शरीक होना अपने आप में रोमांचक बनाते हैं और पूरा विश्वास है कि आने वाले समय पर हमारे संस्कृति एक विश्व स्तर पर नजर आएगी।
केन्द्रीय प्रवक्ता रमेश हेंब्रम ने कहा कि सरहुल मैदान हमारी एक आस्था का स्थल है जहां पर सरना स्थल, मांझी थान, जाहेर थान सब है और इसमें सुंदरीकरण करना बहुत जरूरी है जो कि आदिवासियों के साथ-साथ हजारीबाग वासियों के लिए भी सौभाग्य रहेगा। हमारा मकसद है सरहुल मैदान की सुंदरीकरण कराना ताकि सभी लोग इस जगह पर बिना किसी व्यवधान के आ सके। केंद्रीय अध्यक्ष मनोज टुडू ने कहा कि मरांग बुरु हमारा था, हमारा है और हमारा हीं रहेगा।
कार्यक्रम को सफल बनाने में केंद्रीय अध्यक्ष मनोज टुडू, केंद्रीय प्रवक्ता आनंद सोरेन, रमेश हेंब्रम, जिला अध्यक्ष सह नाइके विकास टुडू, इंद्रिय महासचिव नरेश हेम्ब्रम, पन्नालाल मुर्मू, जिला सचिव संतोष हंसदा, जिला उपाध्यक्ष अनुराग मुर्मू, राजा हेंब्रम, छोटन मुर्मू, आदिवासी केंद्रीय सरना समिति हजारीबाग के बंधन एक्का, रतन केरकेटा, दिनेश , फुलवा कच्छप, प्रीतम उरांव, सरोज लकड़ा, महेंद्र टोप्पो, जितवाहन भगत, आदिवासी छात्र संघ अध्यक्ष अजय टोप्पो, केंद्रीय उपाध्यक्ष सुशील ओड़िया, आदिवासी सेंगेल अभियान के अध्यक्ष बहा हंसदा,शनिचरा सोरेन, महादेव मुर्मू, नवीन टुडू, दुर्गा मुर्मू, हरीश मुर्मू, मनीष, रवि, नीलेश, पेरू, सागर टुडू, राहुल टुडू, राजकुमार किस्कू, कौलेश्वर मुर्मू , सिकंदर मरांडी, चंदन, कालेश्वर, सुरेश, प्रकाश, ललिता सोरेन, मनीषा, प्रीति लकड़ा, सावित्री टुडू, विनीता हेम्ब्रम, पुनीता खेस, शीतल सोरेन, सोहा हंसदा, एलिसा, गुड़िया हंसदा, अलीशा, नेहा, सीमा लकड़ा, सुप्रिया टोप्पो, पूनम सोरेन, नमिता, श्वेता खालको, आशा, किरण खलको, लक्ष्मी खलको, अनिशा बाखला, गीता बाखला सहित कई लोगों का सराहनीय योगदान रहा।